Mukesh Ambani Security

 


विस्तार

देश के शीर्ष उद्योगपति मुकेश अंबानी व उनके परिवार को दी गई सुरक्षा को लेकर त्रिपुरा हाईकोर्ट के अंतरिम आदेश को केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। केंद्र ने मामले में अर्जेंट सुनवाई का आग्रह किया।

इस पर शीर्ष कोर्ट 28 जून की तारीख तय कर दी।

अंबानी की सुरक्षा को लेकर त्रिपुरा हाईकोर्ट ने एक जनहित याचिका (PIL) की सुनवाई करते हुए केंद्र सरकार से जवाब मांगा है। पीआईएल में केंद्र सरकार द्वारा अंबानी को मुंबई में दी गई सुरक्षा को चुनौती दी गई है। इस पर त्रिपुरा हाईकोर्ट ने केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधिकारियों को आदेश दिया है कि वे मंगलवार को रिकॉर्ड लेकर कोर्ट में पेश हों। हाईकोर्ट ने कहा है कि अंबानी को खतरे के आकलन की रिपोर्ट के दस्तावेज भी पेश किए जाएं।



बिकास साहा ने दायर की हाईकोर्ट में पीआईएल
हाईकोर्ट में याचिका बिकास साहा ने दायर की है। इस पर हाईकोर्ट ने 31 मई व 21 जून को दो अंतरिम आदेश जारी किए हैं। इनमें गृह मंत्रालय से कहा गया है कि अंबानी, उनकी पत्नी व बच्चों को दी गई सुरक्षा की मूल फाइल व खतरे के आकलन की रिपोर्ट, जिसके आधार पर उन्हें सुरक्षा कवच प्रदान किया गया है, पेश की जाए।

त्रिपुरा हाईकोर्ट को सुनवाई का अधिकार नहीं : केंद्र
सुप्रीम कोर्ट के अवकाशकालीन न्यायाधीश सूर्यकांत व जेडी पारदीवाला की पीठ के समक्ष केंद्र की ओर से सॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि त्रिपुरा हाईकोर्ट को इस पीआईएल की सुनवाई का कोई अधिकार नहीं है, क्योंकि अंबानी की सुरक्षा से त्रिपुरा सरकार का कोई लेना-देना नहीं है। केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र सरकार की सिफारिश पर अंबानी को सुरक्षा मुहैया कराई है। चूंकि, गृह मंत्रालय के अधिकारियों को मंगलवार को तलब किया गया है, इसलिए वे अर्जेंट सुनवाई चाहते हैं। इस पर शीर्ष कोर्ट ने मंगलवार को सुनवाई का फैसला किया।

Comments